संपादकीय
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ज़मीन का नहीं, ज़िम्मेदारी का करें बँटवारा
ज़मीन का नहीं, जि़म्मेदारी का करें बँटवारा वैसे तो 20-20 के चलन को आए हुए एक दशक से भी ज़्यादा…
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मेरे पास समय नहीं है।
मेरे पास समय नहीं है। आजकल यह उक्ति बहुत चलन में है और हर कोई इसका इस्तेमाल करता है। आप…
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ज़्यादा उत्पादन चाहिए या ज़्यादा दाम?
ज़्यादा उत्पादन चाहिए या ज़्यादा दाम? लिखें तो क्या लिखें? हाल-ए-दिल लिखें या देश का हाल लिखें? या यह दुनिया…
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प्राकृतिक आपदाएँ या मानव-निर्मित त्रासदियाँ!
फिलहाल ताज़ा खबर यह है कि इंटरनेट के इस ज़माने में अब ताज़ा खबर का ज़माना जा चुका है। अब…
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‘मुआवज़ा’ समस्या का हल नहीं है
‘मुआवज़ा’ समस्या का हल नहीं है उत्तरप्रदेश में गोरखपुर के एक सरकारी अस्पताल में हुई 60 बच्चों की मौत और…
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बेढंगा विकास मतलब सुव्यवस्थित विनाश, फिर भी ज़िन्दा है आस
ताज़ा खबर यह है कि गर्मी में जहाँ आधा देश पानी की समस्या से जूझ रहा था, वहीं अब देश…
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हमारी नादानी और बेईमानी से ख़त्म हो रहा है पानी
आज की तारीख में आधा भारत पानी की कमी से परेशानी झेल रहा है। खबरों के मुताबिक चेन्नई शहर में…
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तू हिन्दू बनेगा, न मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा।
तू हिन्दू बनेगा, न मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा। आज हालात ये हैं कि पूरा विश्व ही…
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आधुनिकता के मकडज़ाल में उलझा इंसान
अभी एक शोध के द्वारा बताया गया है कि हिमालय में तीव्र गति का भूकंप आने वाला है। यह खबर…
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अब जनता को ‘उल्लू बनाना’ आसान नहीं
अभी हाल ही में प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में एक निर्माणाधीन पुल गिर जाने की घटना में हमने भ्रष्टाचार…
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